Sharif Usman Hadi Attack Dhaka: भारत-विरोधी नेता शरीफ उस्मान हादी पर हुआ जानलेवा हमला, चुनावी राजनीति में मचा भूचाल
Sharif Usman Hadi Attack Dhaka: बांग्लादेश की राजधानी ढाका शुक्रवार दोपहर उस वक्त दहल (Shaken) उठी, जब ढाका-8 निर्वाचन क्षेत्र से स्वतंत्र उम्मीदवार और कट्टरपंथी इस्लामी संगठन ‘इंकलाब मंच’ के नेता शरीफ उस्मान हादी पर अज्ञात हमलावरों ने गोली चला दी। यह हमला चुनाव प्रचार के दौरान हुआ, जिसने देश की सुरक्षा व्यवस्था और राजनीतिक स्थिरता पर गंभीर सवाल (Questions) खड़े कर दिए हैं।

सिर में गोली, हालत नाजुक
30 वर्षीय शरीफ उस्मान हादी को हमले के तुरंत बाद ढाका मेडिकल कॉलेज अस्पताल (DMCH) ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उसकी हालत नाजुक (Critical) बताई। बाद में परिवार की मांग पर उसे एवरकेयर अस्पताल में शिफ्ट किया गया, जहां वह फिलहाल आईसीयू में भर्ती है। डॉक्टरों के अनुसार गोली कान के ऊपर सिर के पास लगी, जबकि छाती और पैरों में भी चोट के निशान हैं। प्रारंभिक सर्जरी के बाद उसका ब्लड प्रेशर स्थिर हुआ है, लेकिन खतरा अभी टला नहीं है।
मोटरसाइकिल सवारों ने किया सुनियोजित हमला
यह घटना ढाका के पुराना पलटन इलाके के बोक्स कर्वर्ट रोड पर दोपहर करीब 2:25 बजे हुई। पुलिस के मुताबिक, जुमे की नमाज के बाद हादी रिक्शा से बिजयनगर क्षेत्र की ओर चुनाव प्रचार के लिए जा रहा था। तभी तीन मोटरसाइकिल सवार हमलावरों ने उसे निशाना (Target) बनाया। सीसीटीवी फुटेज में साफ दिखाई देता है कि पीछे बैठे हमलावर ने बेहद नजदीक से हादी के सिर पर गोली चलाई, जबकि दूसरी बाइक ने रिक्शा का पीछा किया।
पहले से कर रहे थे पीछा
हादी के करीबी सहयोगी एसराफिल फराजी ने दावा किया कि हमलावर सुबह से ही प्रचार अभियान में शामिल थे। जुमे की नमाज के दौरान वे मस्जिद के बाहर निगरानी कर रहे थे और मोतीझील इलाके में भी उनकी मौजूदगी दर्ज की गई थी। पुलिस इसे एक पूर्व-नियोजित (Pre-Planned) हमला मान रही है। ढाका मेट्रोपॉलिटन पुलिस के कमिश्नर शेख मोहम्मद सज्जाद अली ने बताया कि सीसीटीवी के आधार पर संदिग्धों की पहचान कर ली गई है और डिटेक्टिव ब्रांच की टीमें छापेमारी कर रही हैं।
फेसबुक लाइव में दिखा खून से लथपथ दृश्य
हमले के बाद हादी को अस्पताल ले जाते समय उसके सहयोगी रहिम ने फेसबुक पर लाइव स्ट्रीमिंग की। इस वीडियो में खून से लथपथ हादी को रिक्शा पर लादते हुए देखा गया, जिसने सोशल मीडिया पर आक्रोश (Outrage) फैला दिया। परिवार ने B-नेगेटिव ब्लड की अपील की है, जबकि समर्थक अस्पताल के बाहर जमा हो रहे हैं।
छात्र आंदोलन से उभरा कट्टरपंथी चेहरा
शरीफ उस्मान हादी जुलाई 2024 के छात्र आंदोलन के प्रमुख नेताओं में शामिल था। इसी आंदोलन ने पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की अवामी लीग सरकार को सत्ता से बाहर कर दिया था। बाद में हादी ‘इंकलाब मंच’ का प्रमुख प्रवक्ता बना और कट्टरपंथी इस्लामी विचारधारा का प्रमुख (Prominent) चेहरा माना जाने लगा। उसकी लोकप्रियता खासतौर पर युवा वर्ग में तेजी से बढ़ी थी।
भारत-विरोधी रुख और विवादित नक्शा
हादी अपने खुले भारत-विरोधी बयानों के लिए जाना जाता रहा है। हमले से ठीक पहले उसने फेसबुक पर भारत का एक विवादित (Controversial) नक्शा शेयर किया था, जिसमें भारत के पूर्वोत्तर राज्यों को बांग्लादेश का हिस्सा दिखाया गया था। वह तथाकथित ‘ग्रेटर बांग्लादेश’ की अवधारणा का समर्थक रहा है, जिसे सल्तनत-ए-बंगला जैसे कट्टरपंथी संगठन प्रचारित करते हैं।
विडंबना: भारत की एम्बुलेंस बनी जीवनरेखा
इस हमले की सबसे चौंकाने वाली बात यह रही कि भारत-विरोधी राजनीति करने वाले हादी की जान बचाने में भारत की मानवीय (Humanitarian) मदद काम आई। स्थानीय मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, उसे जिस हाई-प्रायोरिटी एम्बुलेंस से अस्पताल ले जाया गया, वह भारत सरकार द्वारा बांग्लादेश को उपहार में दी गई एम्बुलेंस थी। बांग्लादेश की आजादी की गोल्डन जुबली पर भारत ने 109 अत्याधुनिक एम्बुलेंस दान की थीं।
चुनावी राजनीति में बढ़ता तनाव
हादी ढाका-8 सीट से 13वीं संसदीय चुनाव के लिए स्वतंत्र उम्मीदवार था, जिनका प्रस्तावित आयोजन 12 फरवरी 2026 को होना है। चुनाव कार्यक्रम की घोषणा के ठीक एक दिन बाद हुआ यह हमला राजनीतिक गलियारों में खलबली (Turmoil) मचा रहा है। विशेषज्ञों का मानना है कि यह घटना आने वाले दिनों में बांग्लादेश की राजनीति को और अस्थिर कर सकती है।
सरकार और सेना की चुप्पी
हमले के बाद अब तक सरकार और सेना की ओर से कोई ठोस बयान सामने नहीं आया है। इस चुप्पी ने कई तरह की अटकलें (Speculation) पैदा कर दी हैं। विपक्षी दल और मानवाधिकार समूह निष्पक्ष जांच की मांग कर रहे हैं, जबकि सुरक्षा एजेंसियां हमलावरों की गिरफ्तारी के दावे कर रही हैं।



