बिहार

Darbhanga Murder Case Update: जिस बेटे को उंगली पकड़कर चलना सिखाया, उसी ने पत्नी के साथ मिलकर ले ली पिता की जान…

Darbhanga Murder Case Update: बिहार के दरभंगा जिले से एक ऐसा सनसनीखेज मामला सामने आया है जिसने मानवीय संवेदनाओं को झकझोर कर रख दिया है। सोनकी थाना क्षेत्र के चिकनी गांव में हुई बिहारी मंडल की हत्या की गुत्थी को पुलिस ने सुलझा लिया है। इस जघन्य हत्याकांड का सच (Darbhanga Police Investigation) के दौरान जब सामने आया, तो हर कोई दंग रह गया। जिस पिता ने उम्र भर अपने बच्चों का भविष्य संवारा, उसकी जान लेने वाला कोई और नहीं बल्कि उसका अपना सगा छोटा बेटा और बहू निकले। पुलिस ने इस मामले में त्वरित कार्रवाई करते हुए दोनों मुख्य आरोपियों को सलाखों के पीछे पहुंचा दिया है।

Darbhanga Murder Case Update
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बेरहमी की सारी हदें पार: ईंट और रॉड से किया हमला

वारदात की रात यानी 17 दिसंबर को बिहारी मंडल अपने घर में सो रहे थे, तभी उन पर जानलेवा हमला किया गया। हमलावरों ने इतनी क्रूरता दिखाई कि बुजुर्ग बिहारी मंडल की (Brutal Murder Act) को अंजाम देने के लिए भारी ईंटों, पत्थरों और लोहे की रॉड का इस्तेमाल किया। उनके सिर और शरीर पर तब तक वार किए गए जब तक कि उनकी सांसें नहीं थम गईं। इस घटना के बाद पूरे इलाके में मातम और दहशत का माहौल फैल गया था, क्योंकि शुरुआत में इसे किसी बाहरी अपराधी या नशेड़ियों की करतूत माना जा रहा था।

गुमराह करने की कोशिश और पुलिस की पैनी नजर

हत्या के बाद मामले को भटकाने के लिए परिवार के ही कुछ सदस्यों ने पुलिस को गुमराह करने की कोशिश की। मृतक के बड़े बेटे अरविंद कुमार द्वारा प्राथमिकी दर्ज कराए जाने के बाद परिजनों ने गांव के पास (Sanki Police Station) क्षेत्र में नशा करने वाले असामाजिक तत्वों पर शक जताया था। हालांकि, डीएसपी सदर राजीव कुमार के नेतृत्व में गठित जांच टीम को घर के भीतर के हालात देखकर कुछ संदेह हुआ। पुलिस ने अपनी जांच की दिशा बदली और वैज्ञानिक साक्ष्यों को जुटाना शुरू किया, जिसके बाद शक की सुई घर के सदस्यों पर ही टिक गई।

तकनीकी साक्ष्य और एफएसएल की टीम ने खोला राज

संदेह के आधार पर पुलिस ने फॉरेंसिक साइंस लेबोरेटरी (FSL) की टीम को मौके पर बुलाया और तकनीकी सर्विलांस की मदद ली। गहन छानबीन के बाद मृतक के छोटे बेटे गोविंद मंडल और उसकी पत्नी मुनचुन देवी को (Custodial Interrogation) के लिए हिरासत में लिया गया। शुरुआत में दोनों ने पुलिस को बरगलाने की कोशिश की, लेकिन जब पुलिस ने उनके सामने वैज्ञानिक सबूत पेश किए और कड़ाई से पूछताछ की, तो वे टूट गए। दोनों ने अपना गुनाह कबूल करते हुए पूरी साजिश का पर्दाफाश कर दिया।

हत्या में इस्तेमाल खून से सने हथियार बरामद

आरोपियों की निशानदेही पर पुलिस ने वह सारा सामान बरामद कर लिया है जिससे इस हत्याकांड को अंजाम दिया गया था। बरामदगी की सूची में (Crime Scene Evidence) के रूप में खून से सनी दो लोहे की रॉड, खून से सने पत्थर और ईंट शामिल हैं। इसके अलावा, आरोपियों के वे कपड़े भी बरामद किए गए हैं जिन पर पिता के खून के धब्बे लगे थे। पुलिस ने उस मोटरसाइकिल को भी जब्त कर लिया है जिसका इस्तेमाल इस आपराधिक घटनाक्रम के दौरान संदिग्ध रूप से किया गया था। ये तमाम सबूत आरोपियों को सजा दिलाने में अहम भूमिका निभाएंगे।

जमीन के विवाद में बेटे ने भुला दी पिता की ममता

पूछताछ के दौरान आरोपी गोविंद मंडल ने हत्या के पीछे की जो वजह बताई, वह समाज की गिरती नैतिकता को दर्शाती है। गोविंद ने बताया कि वह अपने चार भाइयों में सबसे छोटा था और उसके पिता अक्सर (Property Dispute Reason) के चलते जमीन बेचते रहते थे। गोविंद का आरोप था कि जमीन बेचने के बाद उसके पिता उसे उसका वाजिब हिस्सा नहीं देते थे। इसी बात को लेकर घर में अक्सर कलेश होता था। पैसे और जमीन की इसी भूख ने एक बेटे को इतना अंधा कर दिया कि उसने अपनी पत्नी के साथ मिलकर अपने ही पिता को रास्ते से हटाने की साजिश रच डाली।

न्यायिक हिरासत में भेजे गए हत्यारे बहू-बेटे

डीएसपी सदर राजीव कुमार ने प्रेस वार्ता के दौरान बताया कि बिहारी मंडल हत्याकांड का सफल उद्भेदन कर लिया गया है। उन्होंने स्पष्ट किया कि इस (Criminal Justice System) के तहत की गई कार्रवाई में यह प्रमाणित हो गया है कि हत्या में किसी बाहरी व्यक्ति का कोई हाथ नहीं था। बेटे और बहू ने आपसी सहमति से इस हत्याकांड की योजना बनाई और उसे अंजाम दिया। दोनों आरोपियों ने अपना जुर्म स्वीकार कर लिया है, जिसके बाद उन्हें न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया गया है। पुलिस अब चार्जशीट दाखिल करने की तैयारी में है ताकि पीड़ित को न्याय मिल सके।

समाज के लिए एक कड़ा सबक और चेतावनी

यह घटना समाज के लिए एक चेतावनी है कि कैसे संपत्ति और लालच पारिवारिक रिश्तों के बीच जहर घोल रहे हैं। दरभंगा पुलिस की (Swift Police Action) ने भले ही आरोपियों को पकड़ लिया हो, लेकिन एक पिता की अपने ही घर में हुई इस दर्दनाक मौत ने कई सवाल खड़े कर दिए हैं। पड़ोसियों और ग्रामीणों के लिए यह यकीन करना मुश्किल हो रहा है कि गोविंद जैसा शांत दिखने वाला युवक इतनी बड़ी वारदात को अंजाम दे सकता है। फिलहाल, पुलिस मामले की अगली कड़ियों को जोड़ रही है ताकि कोर्ट में मजबूत पैरवी की जा सके।

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