नई दिल्ली : अपने दिन की शुरूआत भरपूर नाश्ते के साथ करने वाले लोगों का वजन कम होने की आसार जताते हुए वैज्ञानिकों ने सदियों पुरानी इस कहावत पर मुहर लगाई है कि सुबह का नाश्ता राजा की तरह करना चाहिए व रात का खाना फकीर की तरह। पचास हजार लोगों पर कराये गये एक अध्ययन में यह बात सामने आई कि दिनभर में प्रातः काल के नाश्ते के समय सबसे ज्यादा आहार लेने वाले लोगों का बॉडी मास इंडेक्स (बीएमआई) उन लोगों की तुलना में कम होता है जो दिनभर कम खाने के बाद रात को छक कर खाते हैं जबकि दोनों ही तरह के लोग पूरे दिन में एक समान कैलोरी की खपत करते हैं।
अमेरिका में लोमा लिंडा यूनिवर्सिटी स्कूल ऑफ पब्लिक हेल्थ के अनुसंधानकर्ताओं ने यह भी पता लगाया कि नाश्ते व रात के भोजन के बीच वक्त अधिक होने का संबंध भी कम बीएमआई से है। जर्नल ऑफ न्यूट्रीशन में प्रकाशित अध्ययन की मुख्य लेखिका हाना काहलेओवा ने कहा, ‘‘भारी नाश्ता करने से भूख, खासतौर पर मिठाइयों व वसा बढ़ाने वाली चीजों की लालसा कम होती है व इससे वजन बढ़ने पर रोक लगती है। ’’ काहलेओवा ने ‘द टेलीग्राफ’ को बताया, ‘‘नियमित प्रातः काल का नाश्ता लेने से तृप्ति बढ़ती है, कुल ऊर्जा खपत कम होती है, समग्र आहार गुणवत्ता में सुधार आता है, ब्लड लिपिड कम होता है व इंसुलिन सेंसिटिविटी व ग्लूकोज टॉलरेंस में सुधार होता है। ’’ उन्होंने कहा, ‘‘दूसरी तरफ शाम के वक्त अधिक खाने से इसके उल्टा असर होते हैं व इनसे बॉडी के वजन पर प्रतिकूल असर पड़ता है। ’’
वैज्ञानिकों का कहना है कि लोगों को स्वस्थ व उचित वजन के लिए प्रातः काल का नाश्ता व दोपहर का भोजन करना चाहिए, देर रात के खाने को छोड़ देना चाहिए, स्नैक्स से बचना चाहिए, दिनभर में सबसे ज्यादा आहार प्रातः काल के नाश्ते में लेना चाहिए व रात में कम से कम 18 घंटे तक कुछ नहीं खाना चाहिए।